अमन चोपड़ा के सीधे सवालों से सच में डर गया अंसारी के अंदर बसा “कट्टर मुसलमान”
पत्रकार अमन चोपड़ा के सवालों से डरकर बीच में ही कार्यक्रम छोड़ कर भागे मौलाना हामिद अंसारी
नकली सेकुलरिज्म और हिंदुओं को बदनाम करने वाले हामिद अंसारी के पास एक भी सवाल का जवाब नहीं था
आप 10 साल तक उपराष्ट्रपति रहे, एमएमयू के वीसी रहे, अल्पसंख्यक आयोग के प्रमुख रहे, राजनयिक रहे, देश ने आपको इतना कुछ दिया लेकिन आपने कार्यकाल के आखिरी दिन आपने कह दिया कि मुस्लिम असुरक्षित हैं, इसकी क्या वजह है?’
अमन चोपड़ा ने पूछा हामिद अंसारी से तो हकलाने लगा इस्लामिक आतंक का समर्थक
एंकर के इस सवाल पर अंसारी ने कहा कि उन्होंने यह बात पब्लिक पर्सेप्शन के आधार पर कही है। इसी सिलसिले में उन्होंने लिंचिंग का भी जिक्र किया। काउंटर सवाल में जब एंकर ने पूछा कि लिंचिंग तो हिंदुओं की भी होती है, तब अंसारी ने कहा कि होती होगी।
एंकर ने कई बार यह सवाल पूछा कि आपको आखिर क्यों लगा कि मुस्लिम असुरक्षित है, लेकिन अंसारी इसका कोई सीधा जवाब न देकर टालने की कोशिश कर रहे थे। वह बार-बार अपनी किताब के फुटनोट को ध्यान से पढ़ने की बात कह रहे थे। इसी दौरान एंकर ने कहा कि इंटरव्यू का मकसद उनकी किताब का प्रचार करना नहीं बल्कि उसमें उठाई गईं बातों पर सवाल करना है। बार-बार ‘मुस्लिमों में असुरक्षा’ वाले बयान पर ही सवाल पूछे जाने पर वह बिदक गए। उन्होंने एंकर से कहा कि आपकी मानसिकता ठीक नहीं है। क्या मैंने आपको इनवाइट किया था? आप किताब का रिव्यू कीजिए…आपकी मानसिकता ठीक नहीं है। ये कहते हुए वह अचानक थैंक्स कहकर इंटरव्यू से उठ गए।
दरअसल उपराष्ट्रपति रहते हुए हामिद अंसारी ने यह बयान दिया था कि देश के मुसलमानों में असुरक्षा की भावना है। बेंगलुरु में नैशनल लॉ स्कूल ऑफ यूनिवर्सिटी के 25वें दीक्षांत समारोह में उन्होंने कहा था कि देश के अल्पसंख्यकों में असुरक्षा की आशंका बढ़ी है। बाद में कार्यकाल खत्म होने से एक दिन पहले राज्यसभा टीवी को दिए इंटरव्यू में भी उन्होंने ये बातें दोहराई थीं। हामिद अंसारी ने अपनी नई किताब ‘बाय मेनी अ हैप्पी एक्सीडेंट: रीकलेक्शन ऑफ अ लाइफ’ में लिखा है कि इन दोनों ही घटनाओं ने कुछ तबकों में नाराजगी पैदा की।
मुस्लिमों में असुरक्षा’ के अपने बहुचर्चित बयान से जुड़े सवालों के इंटरव्यू में बार-बार पूछे जाने पर उन्होंने न सिर्फ एंकर की मानसिकता पर सवाल उठाया बल्कि अचानक इंटरव्यू से भी उठ गए।
जब हिंदू आतंकवाद कहा जाता था, तब क्या सरकार की डिक्शनरी में सेक्युलरिज्म था, इस सवाल ने अंसारी का जायका बिगाड़ दिया। उन्होंने कहा कि इस तरह की बात उन्होंने तो नहीं कही है। किसी ए, बी, सी की कही बातों को मुझसे मत जोड़िए। जिन्होंने यह बात कही, उनसे ही पूछिए।
इंटरव्यू के दौरान पत्रकार अमन चोपड़ा ने हामिद अंसारी को कहा कि मैं यहाँ आपके पुस्तक का प्रचार करने नहीं आया हूँ। जिसपर हामिद अंसारी भड़क उठे और उन्होंने पत्रकार को कह यहाँ तक कह डाला कि मैंने आपको यहाँ नहीं बुलाया है।
दरअसल जी न्यूज के पत्रकार अमन चोपड़ा हामिद अंसारी की आत्मकथा को लेकर उनका इंटरव्यू करने गए थे। इंटरव्यू के दौरान अमन चोपड़ा ने सवाल पूछते हुए कहा कि आप दो बार देश के उपराष्ट्रपति रहे, राज्यसभा के सभापति रहे, राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष रहे, भारत के राजदूत रहे लेकिन इसके बावजूद आपने कह दिया कि देश में अल्पसंख्यक असुरक्षित हैं। जिसपर हामिद अंसारी ने जवाब देते हुए कहा कि आपको ये किसने कहा और आपकी मानसिकता गलत है। आगे हामिद अंसारी ने कहा कि अगर आपको यही करना था तो आपको आने की कोई जरुरत नहीं थी।
अक्सर इस्लामवादियों का महिमामंडन करने वाले पूर्व उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी की ज़ी टीवी के एंकर अमन चोपड़ा ने क्लास लगा दी। दरअसल, हर मुद्दे पर मुस्लिमों को असुरक्षित बताने वाले अंसारी खुद ही नहीं बता पाए कि किस तरह से मुसलमान भारत मे असुरक्षित है।
गौरतलब है कि यह पहली बार नहीं था जब हामिद अंसारी ने मुसलमानों को उकसाते हुए कहा हो कि देश में मुस्लिम खतरे में हैं। उन्होंने पहले भी कहा है कि मोदी के शासन में भारत में इस्लाम और मुसलमान दोनों परेशान है। इसके अलावा उन्होंने इस्लामिक शरिया अदालतों के पक्ष में जाने के लिए अक्सर अपनी इस्लामी प्रवृत्तियों का प्रदर्शन किया है। इससे पहले पूर्व वीपी ने पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना के चित्र के विरोध के दौरान अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के छात्रों का समर्थन किया था।
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