कम्युनिस्ट केरल अब ड्रग्स तस्करों का नया ठिकाना बनता जा रहा है। जिसकी वजह से ड्रग्स माफियाओं ने पूरे सूबे में दहशतगर्दी मचा रखी है. हर रोज केरल से कभी बीजेपी तो कभी RSS कार्यकर्ता की हत्या की खबर सामने आती है , क्योंकि वो ड्रग्स माफियाओं की राह में रोड़े अटकाने का काम करते हैं .
दरअसल केरल से एक बार फिर बीजेपी कार्यकर्ता की हत्या की खबर सामने आई है। मृतक की पहचान सरथ चंद्रन के तौर पर हुई है। अलप्पुझा जिले के हरिपद इलाके में 16-17 फरवरी की रात को चाकू से उन्हें गोद दिया गया. जिसकी वजह से मौके पर ही उनकी मौत हो गई. सरथ कुमारपुरम के करीब स्थित वरयंकोडे के रहने वाले थे. मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक सरथ पर हमला एक मंदिर में आयोजित कार्यक्रम के दौरान बहस के बाद हुआ. पुलिस आशंका जाहिर कर रही है कि हत्या के पीछे ड्रग्स माफिया हो सकते हैं. पुलिस ने हमलवारों के मुखिया का नाम नंदू प्रकाश के रूप में उजागर किया है.
इससे पहले अलप्पुझा जिले में ही बीते 19 दिसंबर को BJP ओबीसी मोर्चा की प्रदेश इकाई के सचिव रंजीत श्रीनिवासन की घर में घुसकर हत्या की गई थी। इस मामले में सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया के 5 कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया है। उससे पहले नवम्बर 2021 में 26 साल के युवा RSS कार्यकर्ता संजीत की हत्या उस वक्त कर दी गयी थी जब वे अपनी पत्नी को बाइक से छोड़ने उनके ऑफिस जा रहे थे. RSS और बीजेपी ने आरोप लगाया था कि संजीत की दिनदहाड़े हत्या के पीछे इस्लामिक संगठन पीएफआई की राजनीतिक शाखा सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया के सदस्यों का हाथ है।
पिछले कुछ सालों में राज्य में कुछ प्रमुख ड्रग्स रैकेट का भंडाफोड़ हुआ है, जिनके आतंकवादी गतिविधियों के लिए पैसे इकट्ठा करने वाले अंतरराष्ट्रीय रैकेट के साथ संबंध थे ।
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