कहने को तो टीवी पर चलने वाली प्राइम टाइम की डिबेट्स देश के अहम मुद्दों पर विचार-विमर्श करने एवं विरोधी पार्टियों द्वारा सत्ताधारियों से प्रश्न पूछने के लिए होती है, परंतु जिस गति से पिछले कुछ वर्षों में इन टीवी डिबेट्स का स्तर गिरा हैसमाचार चैनलों पर बहस अब नए रूप में सामने आने लगी हैं। पिछले कुछ समय में जिस तरह से कॉन्ग्रेस प्रवक्ताओं और नेताओं द्वारा अपने विरोधियों के लिए अपशब्द एवं गालियों का इस्तेमाल किया जाने लगा है, ऐसा लगता है मानो यह इस पार्टी की किसी नई ‘टूलकिट’ का कोई अजेंडा है।खोने को यूँ भी कॉन्ग्रेस के पास अब शायद ही कुछ बचा है। शायद वह दिन दूर नहीं जब इन डिबेट्स में ‘बिग बॉस’ और ‘रोडीज़’ जैसे कार्यक्रमों की तरह ‘बीप’ का उपयोग करना आवश्यक हो जाए।वाद-विवाद में घटिया शब्दावली की शुरुआत
भारतीय संस्कृति में किसी दिवंगत व्यक्ति के विषय में नकारात्मक बातें बोलना सभ्य नहीं माना जाता, परंतु इस विषय की शुरुआत उसी एक टीवी डिबेट से करना आवश्यक है। आज से करीब 2 साल पूर्व एक डिबेट के दौरान काॅन्ग्रेस के स्वर्गीय प्रवक्ता राजीव त्यागी द्वारा एंकर अमीश देवगन के लिए कुछ ऐसी शब्दावली का प्रयोग होता है जो टीवी के स्तर पर अति निम्न एवं घृणास्पद था।वाद-विवाद में घटिया शब्दावली की शुरुआत
भारतीय संस्कृति में किसी दिवंगत व्यक्ति के विषय में नकारात्मक बातें बोलना सभ्य नहीं माना जाता, परंतु इस विषय की शुरुआत उसी एक टीवी डिबेट से करना आवश्यक है। आज से करीब 2 साल पूर्व एक डिबेट के दौरान काॅन्ग्रेस के स्वर्गीय प्रवक्ता राजीव त्यागी द्वारा एंकर अमीश देवगन के लिए कुछ ऐसी शब्दावली का प्रयोग होता है जो टीवी के स्तर पर अति निम्न एवं घृणास्पद था।वाद-विवाद में घटिया शब्दावली की शुरुआत
भारतीय संस्कृति में किसी दिवंगत व्यक्ति के विषय में नकारात्मक बातें बोलना सभ्य नहीं माना जाता, परंतु इस विषय की शुरुआत उसी एक टीवी डिबेट से करना आवश्यक है। आज से करीब 2 साल पूर्व एक डिबेट के दौरान काॅन्ग्रेस के स्वर्गीय प्रवक्ता राजीव त्यागी द्वारा एंकर अमीश देवगन के लिए कुछ ऐसी शब्दावली का प्रयोग होता है जो टीवी के स्तर पर अति निम्न एवं घृणास्पद था।वाद-विवाद में घटिया शब्दावली की शुरुआत
भारतीय संस्कृति में किसी दिवंगत व्यक्ति के विषय में नकारात्मक बातें बोलना सभ्य नहीं माना जाता, परंतु इस विषय की शुरुआत उसी एक टीवी डिबेट से करना आवश्यक है। आज से करीब 2 साल पूर्व एक डिबेट के दौरान काॅन्ग्रेस के स्वर्गीय प्रवक्ता राजीव त्यागी द्वारा एंकर अमीश देवगन के लिए कुछ ऐसी शब्दावली का प्रयोग होता है जो टीवी के स्तर पर अति निम्न एवं घृणास्पद था।
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