बिना धर्म परिवर्तन किए अयोध्या में ईंट लाने व पूजा करने की बात करने वाले राम भक्त मुस्लिमों से एक सवाल – 500 साल से कहाँ थे मियाँ? कभी सामने आकर खुलकर नहीं बोला कि मंदिर बना दो , बाकी जगह जहां मंदिर तोड़े गए, वहां के बारे में क्या ख्याल हैं?
फ़ैज़ मोहम्मद राम जन्मभूमी में ईंट लगाना चाहते हैं। शायद राम ही ईश्वर हैं, भगवान विष्णु के अवतार हैं ये उन्हें समझ आ गया हैं। तो क्या वराह अवतार को भी मानते हैं फ़ैज़ मोहम्मद? क्या वराह अवतार की मूर्ति पूजा करेंगे? अगर राम में आस्था हैं तो हिन्दू क्यों नहीं बन जाते? चलिए छोड़िए ये मुश्किल सवाल लेकिन एक साधारण सवाल का जवाब तो दीजिये – अब तक कहाँ थे मियाँ?
जब कारसेवक घर घर से राम नाम की ईंटे लेकर अयोध्या जा रहे थे, गोलियां कहा रहे थे, जेल जा रहे थे , तब ईंट लेकर क्यों नहीं आये फ़ैज़ मोहम्मद?
क्या अभी अदालत गए ये कहने कि अयोध्या में राम मंदिर बनना चाहिए? क्या अन्य मंदिर जिन्हें तोड़ दिया गया उनके लिए कभी सार्वजनिक बोला या कोई स्टैंड लिया।
भगवान राम के प्रति आपकी आस्था को नमन, मूर्ति पूजा में आपका विश्वास आपके पूर्वजों के द्वारा दिया ज्ञान हैं। हम इसका आदर करते हैं। बस सवाल वो ही हैं आखिर अब तक कहां थे मियाँ?
और हां, राम ईमाम नहीं। परमपिता परमेश्वर साक्षात भगवान, सृस्टि के रचयिता, लालन पालन करने वाले हैं। जब तक ये समझ नहीं आता तब तक थोड़ा इंतजार कीजिये। क्या पता कल ये भी समझ आ जाये आपको। तब राम मंदिर आने का आंनद ही कुछ और होगा
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