भारत ,फ्रांस के साथ है : मगर मुगलिये आतंक के साथ

हिन्दुस्तान में एक बात और जो अक्सर देखने को मिल जाती है वो ये कि दुनिया में कहीं भी किसी भी देश में किसी भी कोने में मुगलों के साथ कुछ घट जाए , वे एक दूसरे को मार मरें तो भी सबसे पहला दर्द भारतीय मुगलों को ही होता था , एकदम फट्ट से | और फिर हो भी क्यों न , जब पाकिस्तान की किसी जीत ,वो भी गलती से भारत के विरूद्ध मिल गई हो उस पर भारत के किसी मोहल्ले में पटाखे जलाए जाते हों ,खुशियां मनाई जाती हो तो उस देश में क्या नहीं संभव है |
India : Thousands of Indian Muslims Rally against France pic.twitter.com/ESLYx2Wun3
— The International Herald (@TheIntlHerald) October 30, 2020
फ्रांस में एक के बाद एक हो रहे आतंकी हमलों से तंग आकर आखिरकार फ्रांस को भी अपनी फ्रेंच किस साइड करके फ्रांसीसी लट्ठ उठाना ही पड़ा | बस फिर क्या था , बेशक चीनियों की तरह उसने मुगलों की कब्र नहीं खोद डाली और उनकी दाढ़ी जिबह करके उन्हें छिले हुए अंडे जैसा नहीं भी बनाया हो तो फिर , ऐसा सूता है न | और ऐसी ऐसी जगह पर सूता है की बस ये समझिये कि कूटा फ़्रांस में है दर्द तुर्की के तशरीफ़ तक बहुत करारा हुआ है |
लेकिन दर्द जब बवासीर का हो और वो भी मुगलई बवासीर का तो फिर ये तो लाज़िमी था कि वो हिन्दुस्तान भी पहुँचे | उठा है जी बहुत करारा उठा है , इसलिए फ्रांस के राष्ट्रपति का विरोध किया जा रहा है ,
Never saw Indian Muslims planting the pics of Imran Khan or Nawaz Sharif on roads when Pathankot or Pulwama happened & Indian jawans were mercilessly k!lled. https://t.co/KU1oSdmxRU
— Ravi (@Ravi_Tweets_) October 30, 2020
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