आज से ठीक 13 साल पहले 2008 में मुंबई में देश का सबसे बड़ा आतंकी हमला हुआ था . इस हमले में सेना और पुलिस के अलावा कई आम नागरिकों ने अपनी जान गंवाई थी. आतंक के इस खूनी खेल में जहां हमारे बहादुर पुलिस के जवानों ने आतंकियों का डटकर सामना किया वहीं पुलिस के स्निफर डॉग्स ने भी वफादारी की मिसाल कायम की. मुंबई हमले के दौरान सुल्तान, मैक्स, टाइगर और सीजर ये नाम हैं उन स्निफर डॉग्स के जिन्होंने कई लोगों को आतंकी हमले से बचाकर उन्हें नयी जिंदगी दी..
सीजर
26/11 के मुंबई आतंकी हमले के दौरान मुंबई पुलिस के जिन स्निफर डॉग्स की वजह से कई लोगों की जान बची थी, उनमें से एक सीज़र नाम का हीरो भी था. सीजर ने सीएसटी के 13 नंबर प्लेटफॉर्म पर कई दर्जन हैंडग्रेनेड खोजने में मदद की थी। इसके अलावा ताज होटल से सीजर ने करीब 8 किलो आरडीएक्स बरामद करने में भी मदद की थी. सीजर ने 14 अक्टूबर 2016 को अंतिम सांस ली. साथ ही अंतिम समय में जब इस हीरो के शव को तिरंगे में लपेटा गया तो मुंबई पुलिस भी अपने आंसू नहीं रोक सकी।
मैक्स
सीजर की तरह मैक्स भी मुंबई हमले का हीरो था….उसने 25 ग्रेनेड , 8 किलो RDX, और 4 डेटोनेटर बरामद करने में मदद की . मुंबई अटैक के दौरान दिलेरी के लिए मैक्स को गोल्ड मेडल भी दिया गया था. मुंबई पुलिस को 10 साल की सेवा देने के बाद मैक्स 2015 में रिटायर हो गया और 8 अप्रैल 2016 को उसकी मौत हो गई.
टाइगर
मुंबई आतंकी हमले में स्निफर डॉग टाइगर ने विस्फोटक सामग्री का पता लगाने में मदद की थी. हमले के बाद भी वह कई दिनों तक होटल ताज के बाहर ड्यूटी पर तैनात था. मई 2015 में वह सेवानिवृत्त हुआ. 2016 जुलाई में उसकी मौत हुई.
सुल्तान
टाइगर के बचपन के दोस्त सुल्तान ने भी बीडीडीएस के लिए काम किया. जांच में गुनहगारों तक पहुंचने में सुल्तान ने कई अहम सुराग दिलवाए. किडनी की बीमारी की वजह से 18 जून 2016 में सुल्तान की मौत हो गई.
दुर्भाग्य है कि आज मैक्स, टाइगर, सुल्तान और सीजर कोई भी जीवित नहीं है. लेकिन इन चारों की बहादुरी के चर्चे पुलिस महकमें में सबकी जुबान पर है.
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