विशेष संवाद : ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की मांग की आड में ‘पी.एफ्.आई.’ को बचाने का कांग्रेसी षड्यंत्र ?’
कर्नाटक कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणापत्र में ‘बजरंग दल’ की तुलना ‘पॉप्युलर फ्रंट ऑफ इंडिया’ (PFI) के साथ कर बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने का आश्वासन दिया है । इससे बजरंग दल की बदनामी हुई है; इसलिए बजरंग दल एवं विश्व हिन्दू परिषद के चंडीगढ प्रभाग ने कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को कानूनी नोटिस भेजकर100 करोड 10 लाख रुपए की मानहानि का दावा किया है । ‘विश्व हिन्दू परिषद’ के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री. विनोद बंसल ने यह जानकारी दी । हिन्दू जनजागृति समिति की ओर से आयोजित ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की मांग की आड में ‘पी.एफ्.आई’. को बचाने का कांग्रेसी षड्यंत्र ?’ इस विषय पर आयोजित ऑनलाइन विशेष संवाद में वे बोल रहे थे ।
श्री. बंसल ने आगे कहा कि, कांग्रेस आतंकवादियों को बचाने के लिए हिन्दुओं को कलंकित करने का निरंतर प्रयास करती आई है । बजरंग दल का राष्ट्रकार्य अविरत जारी ही है । कोरोनाकाल में, साथ ही विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं के समय में बजरंद दल ने सेवाकार्य किया है । कांग्रेस यदि बजरंग दल पर दोष मढकर जिहादी संगठन पी.एफ्.आई. को बचाने का प्रयास कर रही हो, तो वो कभी सफल नहीं होंगे । भारत की जनता तथा बजरंगबली के भक्त कांग्रेस को अच्छा पाठ पढाए बिना नहीं रहेंगे ।
कर्नाटक उच्च न्यायालय की अधिवक्ता शुभा नाईक ने कहा कि कर्नाटक कांग्रेस ने भले ही बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की मांग की हो; परंतु किसी भी राज्य को किसी भी संगठन पर प्रतिबंध लगाने का कानूनी अधिकार नहीं होता । कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणापत्र में पी.एफ्.आई. (PFI) पर भी प्रतिबंध लगाने की बात कही है; परंतु जहां केंद्र सरकार ने पी.एफ.आई.(PFI) पर पहले ही प्रतिबंध लगा दिया हो, तो ऐसे में कांग्रेस उस पर और कैसा प्रतिबंध लगाने जा रही है ? कांग्रेस मुसलमानों की वोटबैंक की राजनीति के लिए यह सब कर रही है ।
‘हिन्दू जनजागृति समिति के’ के प्रवक्ता श्री. नरेंद्र सुर्वे ने किहा कि बजरंग दल तथा पी.एफ.आई. की तुलना ही नहीं हो सकती; क्योंकि बजरंग दल एक राष्ट्रभक्त संगठन है, तो पी.एफ्.आई. एक राष्ट्रविरोधी एवं आतंकी संगठन है । हिन्दू संगठनों को बदनाम करना कांग्रेस का अभीतक का इतिहास रहा है । केवल बजरंग दल ही नहीं, अपितु कांग्रेस ने इससे पूर्व राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, सनातन संस्था, हिन्दू जनजागृति समिति आदि अनेक हिन्दू संगठनों पर प्रतिबंध लगाने का प्रयास किया है; परंतु जिहादी संगठनों पर प्रतिबंध लगाने के लिए कुछ भी नहीं किया है । अब हिन्दू समाज जागृत हो रहा है तथा वह सभी हिन्दू संगठनों के साथ खडा होनेवाला है ।
श्री. बंसल ने आगे कहा कि, कांग्रेस आतंकवादियों को बचाने के लिए हिन्दुओं को कलंकित करने का निरंतर प्रयास करती आई है । बजरंग दल का राष्ट्रकार्य अविरत जारी ही है । कोरोनाकाल में, साथ ही विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं के समय में बजरंद दल ने सेवाकार्य किया है । कांग्रेस यदि बजरंग दल पर दोष मढकर जिहादी संगठन पी.एफ्.आई. को बचाने का प्रयास कर रही हो, तो वो कभी सफल नहीं होंगे । भारत की जनता तथा बजरंगबली के भक्त कांग्रेस को अच्छा पाठ पढाए बिना नहीं रहेंगे ।
कर्नाटक उच्च न्यायालय की अधिवक्ता शुभा नाईक ने कहा कि कर्नाटक कांग्रेस ने भले ही बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की मांग की हो; परंतु किसी भी राज्य को किसी भी संगठन पर प्रतिबंध लगाने का कानूनी अधिकार नहीं होता । कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणापत्र में पी.एफ्.आई. (PFI) पर भी प्रतिबंध लगाने की बात कही है; परंतु जहां केंद्र सरकार ने पी.एफ.आई.(PFI) पर पहले ही प्रतिबंध लगा दिया हो, तो ऐसे में कांग्रेस उस पर और कैसा प्रतिबंध लगाने जा रही है ? कांग्रेस मुसलमानों की वोटबैंक की राजनीति के लिए यह सब कर रही है ।
‘हिन्दू जनजागृति समिति के’ के प्रवक्ता श्री. नरेंद्र सुर्वे ने किहा कि बजरंग दल तथा पी.एफ.आई. की तुलना ही नहीं हो सकती; क्योंकि बजरंग दल एक राष्ट्रभक्त संगठन है, तो पी.एफ्.आई. एक राष्ट्रविरोधी एवं आतंकी संगठन है । हिन्दू संगठनों को बदनाम करना कांग्रेस का अभीतक का इतिहास रहा है । केवल बजरंग दल ही नहीं, अपितु कांग्रेस ने इससे पूर्व राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, सनातन संस्था, हिन्दू जनजागृति समिति आदि अनेक हिन्दू संगठनों पर प्रतिबंध लगाने का प्रयास किया है; परंतु जिहादी संगठनों पर प्रतिबंध लगाने के लिए कुछ भी नहीं किया है । अब हिन्दू समाज जागृत हो रहा है तथा वह सभी हिन्दू संगठनों के साथ खडा होनेवाला है ।
रमेश शिंदे, राष्ट्रीय प्रवक्ता, हिन्दू जनजागृति समिति,
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