पाकिस्तान में हिंदुस्तान और हिंदुओं से जुड़े प्रतीकों पर हमला करने से कट्टरपंथी बाज नहीं आ रहे हैं. ऐसी ही तस्वीर लाहौर में देखने को मिली, जहां ‘शेर ए पंजाब’ के नाम से मशहूर महाराजा रणजीत सिंह की पाकिस्तान के लाहौर में स्थित प्रतिमा को को तीसरी बार निशाना बनाया गया.. आरोप है कि तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान से जुड़े एक शख्स ने महाराजा रणजीत सिंह की मूर्ति को ध्वस्त कर दिया है. सोशल मीडिया पर मूर्ति तोड़ने की वारदात वायरल हो गई है. वीडियो में पाकिस्तानी कट्टरपंथी शख्स महाराजा रणजीत सिंह की मूर्ति ध्वस्त करते नजर आ रहा है.

इस मूर्ति पर किया गया यह तीसरा हमला है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हमला TLP के लोगों ने किया है। हालांकि, उनकी पहचान अभी सामने नहीं आई है। सामने आए सोशल मीडिया वीडियोज में दिखाया गया है कि संदिग्ध हमलावर ने हाथ से ही मूर्ति पर हमला किया और इसके पैर और दूसरे हिस्से तोड़ दिए। हालांकि, जब तक वह ज्यादा नुकसान पहुंचाता, लोगों ने उसे पकड़ लिया..मूर्ति तौड़ने के दौरान हमालवर ने ‘या अली’ के नारे भी लगाए.

कांस्य से बनी इस 9 फीट की मूर्ति में रणजीत सिंह घोड़े पर बैठे हैं और उनके हाथ में तलवार है। वह सिखों के परिधान में बैठे दिखते हैं। इस मूर्ति को जून 2019 में लगाया गया था। इधर हर तरफ से बढ़ते दबाव के बाद पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की पुलिस भी हरकत में आई. महाराजा रणजीत सिंह की प्रतिमा तोड़े जाने वाले कट्टरपंथी समूह तहरीक-ए-लब्बैक के सदस्य रिजवान को गिरफ्तार कर लिया. गया है और उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है.

ये तीसरी बार है जब महाराजा रणजीत सिंह की प्रतिमा को निशाना बनाया गया है .. इससे पहले अगस्त 2019 में जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के विरोध में लाहौर स्थित महाराजा रणजीत सिंह की मूर्ति पर हमला किया गया था.. इसके बाद 11 दिसंबर 2020 में लाहौर में भी महाराजा रणजीत सिंह की प्रतिमा को तोड़ा गया था.

आपके लिए ये जानना जरुरी है कि शेर ए पंजाब के नाम से मशहूर महाराजा रणजीत सिंह ने ना केवल पंजाब को एक सशक्त सूबे के रूप में एकजुट रखा, बल्कि अपने जीते-जी उन्होंने कट्टरपंथियों और अंग्रेजों को अपने पास फटकने भी नहीं दिया था ।

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