देश में जबसे कोरोनावायरस को लेकर संकट चल रहा है तभी से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को घेरने की वामपंथी गैंग की कोशिशें लगातार चल रही हैं। केजरीवाल, उद्धव ठाकरे और कांग्रेस के मुताबिक काम सब मोदी करें और वह बस विज्ञापन बजट में अपना भरपूर पैसा खर्च करें। सवाल पूछा जाना चाहिए कि एक ऑक्सीजन प्लांट अगर कोविड संक्रमण के बीते एक साल में दिल्ली में लगवाया हो तो बताएं केजरीवाल। केंद्र सरकार के जितने अस्पताल दिल्ली में हैं, ज्यादातर में समस्या नहीं है। लेकिन दिल्ली में जहां केजरीवाल सरकार का दायरा शुरु होता है, वहां त्राहिमाम है। इतना समझने में इनके कमभक्तों को रामजी और अयोध्या याद आने लगती है।
केजरीवाल गैंग के सारे वामपंथी नमक छिड़कने और मजाक उड़ाने में सारी मर्यादा लांघ रहे हैं। मोदी का मजाक उड़ाने वालों से पूछा जाना चाहिए कि आखिर दिल्ली में बीते 1 साल में एक भी कायदे का अस्पताल केजरीवाल क्यों नहीं बनवा सके? पिछले साल दिल्ली सरकार को पत्र गया था कि 24 घंटे में ऑक्सीजन प्लांट के सभी आवेदन स्वीकृत कर दिए जाएं, कितने स्वीकृत किए गए? अपना बनाया और पैदा किया एक पेड़ नहीं लगा, ऑक्सीजन प्लांट तो दूर की बात, और ऊपर से तुर्रा ये कि हमारे ऑक्सीजन टैंकर दूसरे राज्यों ने रोक रखे हैं?
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