राहुल गांधी के एक बयान ने देश को कांग्रेस के सारे पाप याद दिला दिये

चीन के जिस कब्जे की बात राहुल गांधी कर रहे हैं वो नेहरू के राज में हुआ और 70 सालों से वो 15 मिनट कभी नहीं आये

राहुल गांधी स्टैंडअप कॉमेडी शो चालू हैं। एक दिन पहले ट्रैक्टर पर सोफा लगाकर घूमते राहुल गांधी ने कल एक बयान दिया। राहुल गांधी ने कहा कि हमारी सरकार होती तो हम 15 मिनट में चीन को बाहर फेंक देते। कहाँ से बहत फेंक देते? जहां 1962 में चीन ने कब्जा किया था वहां से।

राहुल गांधी ये भूल गए कि 1962 में जब कब्जा हुआ तब नेहरू की सरकार थी, तब से 2014 तक ज़्यादातर समय कांग्रेस ही सत्ता में थी। पर वो 15 मिनट कभी नहीं आये।

एक बार आया मौका जब 15 मिनट में राहुल गांधी ने चीन की कम्युनिस्ट पार्टी के साथ एक समझौते पर दस्तखत किये थे। वो क्या समझौता था ये आजतक राहुल गांधी बता नहीं पाए।

खैर राहुल गांधी के आत्मविश्वास की एक वजह हैं – शुद्ध मूर्खता व अज्ञान। राहुल गांधी का मानना हैं कि जब वो कांग्रेस को सत्ता से बाहर कर सकते हैं, खुद को अमेठी से बाहर कर सकते है और तो और बुद्धि व लॉजिक को कांग्रेस से बाहर कर सकते हैं तो चीन क्या चीज हैं ।

राहुल गांधी को पूरा भरोसा हैं कि उनसे अगर सीधी बात हो तो चीन का जिंगपिंग 15 मिनट से पहले हंसता हुआ सिर धुनता हुआ भाग खड़ा होगा। आखिर, कांग्रेस का जो भी नेता राहुल से मिलता हैं, वो भी तो ऐसे ही भाग खड़ा होता हैं।

राहुल के स्टैंडअप कॉमेडी में बस एक प्रॉब्लम हैं। सेना का अपमान करने की उनकी बदतमीजी से भरी हुई कोशिशें। राहुल गांधी बार बार भारत की सेना को एक पराजित सेना व चीन को विजयी सेना बताते हैं। राहुल गांधी भारत की सेना द्वारा चीन को मारने व ऊंची चोटियों पर कब्जा करने का कभी जिक्र नहीं करते। लेकिन चीन की महानता के गुणगान करते हैं।

ज्यादातर कांग्रेसियों का मानना हैं कि जो राहुल गांधी 15 मिनट पहले कहीं बात याद तक नहीं रख पाते उनके बयान पर 15 मिनट सोचना समय की बर्बादी के सिवा कुछ नहीं। पर कांग्रेसियों के पास समय बहुत हैं बर्बाद करने को।

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