महाराष्ट्र सरकार द्वारा अब तक प्रदेश और विशेषकर मुंबई में बढ़ते ड्रग्स के महाविनाश को रोकने के लिए उतनी दृढ़ता , उतनी चिंता नहीं दिखाई जितनी किसी भी राज्य सरकार से अपने नागरिकों के हितों की सुरक्षा के दायित्व के लिए अपेक्षित होता है तो हठात हैरान तो सबको निश्चय ही होती रही है।

ऐसे में महाराष्ट्र सरकार के एक मंत्री पर बलाकार के संगीन आरोप के बाद अब एक दूसरे मंत्री के दामाद का ड्रग डीलिंग जैसे जहर के व्यापार में जेल जाना बेहद गंभीर चिंता का विषय है। NCB जिसने समीर खान को 13 जनवरी को गिरफ्तार किया था को एसप्लानेड कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। अधिकारियों ने अदालत को बताया कि समीर खान के ड्रैग डीलींग में शामिल होने के उनके पास पर्याप्त सबूत हैं।

इसमें गौरतलब बात ये भी है कि इन दिनों मुंबई प्रदेश के सबसे महत्वपूर्ण और बहुत ही , बल्कि से बहुत से ज्यादा जरूरी टीआरपी वाले केस की एक साल की चैट को किस्तों में रिलीज़ करने बिज्जी चल री स्थानीय पुलिस के पास ड्रग्स व्रग्स जैसे छोटे मोठे अपराधों के लिए अभी समय ही नहीं है। तो NCB का तो फिर ये बनता ही बनता है कि वो अपने मामले को खुद ही संभाले।

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