किरण यादव-इस्लामी चौखट से वेश्या बनाकर निकाली गई एक हिंदू युवती की दुःखद दास्तान

किरण यादव: इस्लामी चौखट से वेश्या बनाकर निकाली गई एक हिंदू युवती की दुःखद दास्तान…!

आज से लगभग दो-तीन वर्ष पूर्व किरण यादव नाम की एक हिंदू युवती हिंदुओं को भला बुरा बोलती हुई सोशल मीडिया पर अचानक से प्रकट हुई थी। हिंदुओं को गाली देने के साथ-साथ किरण यादव नामक यह युवती हिंदूद्रोही गैंग के प्रति अत्यंत ही सहिष्णु एवं उदार दिखाई पड़ती थी। किरण यादव के पोस्ट्स को शेयर करने वाले तबके में शुरुआत में तो केवल मोमिनीन ही शामिल थे परंतु कुछ समय के उपरांत हर वर्ग के अंदर किरण यादव के फॉलोअर्स बनना शुरू हो गए। इसके बाद किरण यादव ने अपना फ़ेसबुक भी पेज बना लिया और ख़ुद से संपर्क करने के लिए उस पेज पर किसी मोमिन का नंबर डाल दिया।

समय निकलता गया और किरण यादव की लोकप्रियता दिन-दूनी, रात-चौगुनी बढ़ती चली गई। कुछ ही महीनों के अंदर सोशल मीडिया पर किरण यादव की पसंदगी का आलम ऐसा हो गया कि किरण यादव की एक सेल्फ़ी के पोस्ट होने के चंद मिनटों के अंदर ही उस पर हज़ारों-लाखों लाइक्स, शेयर्स और कमेंट्स आने लग गए। चूंकि टीम बाबा इज़रायली किरण यादव एवं उसके पीछे शामिल इस्लामी गैंग पर तीखी नज़र रख रही थी, अतः एक दिन बाबा इज़रायली के साइबर रक्षकों को किरण यादव के द्वारा पोस्ट की गई एक सेल्फ़ी में एक मोटरसाइकिल दिखाई पड़ी जिसका नंबर UP-25 से शुरू होता था। इतना इनपुट मिलना तो टीम बाबा इज़राइली  के लिए बहुत था। अतः तेज़ी के साथ इस बात का पता लगाया जाना शुरू कर दिया गया कि यह मोटरसाइकिल किसके नाम पर रजिस्टर्ड है?

बहुत जल्दी मोटरसाइकिल के मोमिन मालिक का पता चल गया और उसको ट्रेस भी कर लिया गया। जब उसको खोपचे में लेकर अच्छी तरह से इज़राइली ट्रीटमेंट दिया गया तो यह पता चल ही गया कि आख़िर किरण यादव किस ग़द्दार का मोहरा है? इतना सब कुछ मालूम हो जाने के पश्चात भी टीम बाबा इज़रायली का विधिक प्रकोष्ठ भारत के तथाकथित महान संविधान एवं सहिष्णु क़ानून में ऐसा प्रावधान नहीं खोज सका जिसके तहत हिंदूद्रोही किरण यादव एवं उसके इस्लामी प्यादों को दंडित करवाया जा सके। अतः इतनी झक मारने के पश्चात भी किरण यादव एवं उसके इस्लामी गैंग को काउंटर न किया जा सका। हालांकि इसके बाद भी टीम बाबा इज़रायली  ने अपनी किरण यादव एवं उसके हिंदूद्रोही गैंग की गतिविधियों पर नज़र रखना बंद नहीं किया और रणनीति बदलते हुए दूसरे विकल्पों की तलाश जारी रखी।

यह बात तो सर्वविदित है कि इस्लामी गैंग के हाथों में जाने के बाद कोई भी मोहतरमा (विशेष रूप से हिंदू नारी) अधिक दिनों तक अक्षत यौवना तो नहीं ही रह सकती है। वह भी ऐसी स्थिति में, जब उसको एक टूल के रूप में लगातार इस्तेमाल किया जा रहा हो। अतः एक दिन एक बहुत ही अहम गुप्त सूचना प्राप्त हुई कि किरण यादव और उसका इस्लामी नेक्सस एक बहुत बड़े स्तर पर एक सेक्स रैकेट चलाया करता है जिसका सरगना उत्तर प्रदेश के बरेली नगर के शहदाना नामक एक मोमिन बहुल क्षेत्र में रहता है। इसके अलावा यह सूचना भी प्राप्त हुई कि बरेली कॉलेज, बरेली के पीछे स्थित रामपुर गार्डन नामक पॉश इलाके में धनवंतरी तोमर अस्पताल के ठीक पीछे वाली गली में स्थित एक कोठी में किरण यादव एक कोचिंग सेंटर चलाने की आड़ में सेक्स सेवाएं प्रदान किया करती है। इतना ही नहीं किरण यादव अपने अलावा कई अन्य हिंदू लड़कियों को भी अपने जाल में फंसाकर बर्बाद कर रही है।

चूंकि नमाज़वादी शासनकाल में सीधे तौर पर किरण यादव और उसके इस्लामी गैंग की कारगुज़ारियों को सीधे-सीधे एक्सपोज़ कर पाना लगभग असंभव था। इसलिए टीम बाबा इज़रायली ने आचार्य चाणक्य के ‘गूढ़-पुरुष-सिद्धांत’ पर चलते हुए वही किया जो वर्ष 2015 में गुजरात के हार्दिक पटेल सेक्स स्कैंडल को एक्सपोज़ करने के लिए किया था। ‘गंदगी को साफ़ करने के लिए गंदगी में उतरना ही पड़ता है…’ की नीति पर चलते हुए अंततः किरण यादव को घेरने के लिए इस्लामी प्यादे तैयार किए गए और फिर उन प्यादों की किरण यादव के इस्लामी गैंग में लेटरल-एंट्री करवाई गई।

कुछ ही समय बाद किरण यादव की एक के बाद एक करके सात एचडी सेक्स वीडियोज़ की एक चरणबद्ध श्रंखला विभिन्न अश्लील वेबसाइट्स पर मुस्लिम-यादव गठजोड़ को मज़बूती प्रदान करते हुई पाई गई। टीम बाबा इज़रायली  के सौजन्य से बरेली जैसे एक छोटे से शहर में की एक देसी सी दिखने वाली हिंदूद्रोही गणिका किरण यादव पलक झपकते ही अंतर्राष्ट्रीय सेलिब्रिटी बन गई।

किरण यादव में इंदिरा गांधी, गोल्डा मेयर और मारग्रेट थेचर की छवि देखने वाले नव-युवकों को भी अब इस बात का एहसास हो गया कि जिस टेम्स नदी की लहरों के बहकावे में आकर वे लाल-सलाम बोलकर क्रांतिकारी बनने के लिए तैयार हो गए थे, वह कोई टेम्स-वेम्स नहीं थी बल्कि वह तो भारत की गंगा-जमुनी सेकुलरी तहज़ीब के नाले में आआह-आउच की सीत्कारों के साथ बिलबिलतीहुई एक नारकीय सूड़ी थी जिसका कि अब पर्दाफाश हो चुका था।

हो सकता है कि उन सात हाई-क्वालिटीज़ वीडियोज़ में किरण यादव ने अपने खाटीय-अभिनय का जो उत्कृष्ट प्रदर्शन किया था, वह सन्नी लियोनी एवं इटैलियन भूरी काकी जैसे लोगों के प्रशंसकों एवं चरण-वंदनकारों के लिए प्रशंसनीय एवं वंदनीय रहे

परंतु यह बात भी शत-प्रतिशत सत्य है कि टीम बाबा इज़रायली के ‘खापीचो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स’ ने यदि उक्त घटना को उस समय एक्सपोज़ न किया होता तो शायद आज किरण भऊजी नामक वेश्या उत्तर प्रदेश की किसी विधानसभा अथवा लोकसभा सीट से नमाज़वादी पार्टी के टिकट से उम्मीदवारी अवश्य झटक चुकी होती।
किरण भऊजी के सेक्स स्कैंडल का पर्दाफाश होने के 24 घंटे के अंदर ही बरेली स्थित रामपुर गार्डन के कोठीनुमा घर से किरण भऊजी एवं उनके इस्लामी मित्रों को लात मारकर बाहर कर दिया गया। उसके बाद किरण भऊजी बदनामी और धिक्कारियत के गटर में ऐसी गिरीं कि आज तक फिर उठ न पाईं।

मौजूदा समय में भउजी के इस्लामी मित्रों ने भी उनकी कमर को कमरा बनाने के बाद उनकी तशरीफ़-शरीफ़ पर जूते की ठोकर मारकर अपनी चौखट से भगा दिया है। सुना है

भऊजी के द्वारा कोई चंदा भी इकट्ठा करवाया गया था जिसका धन भी मोमिनों ने हड़प लिया है और भऊजी के ऊपर FIR भी करवा दी है। कुल-मिलाकर किसी समय ‘मुस्लिम-यादव एकता’ की मिसाल रही किरण यादव भऊजी, इस समय ‘इस्लामी अल-तकिया’ के सेकुलरी गंगा-जमुनी साइड-इफ़ेक्ट्स झेल रे ली हैं।

किरण यादव! यादव कुल में पैदा होने के बाद भी तुमने यदुकुलभूषण योगेश्वर भगवान श्रीकृष्ण के उपदेशों को नहीं पढ़ा। काश! क़ुरआनी आयात पढ़ने के स्थान पर यदि तुमने एक बार भी गीता को पढ़ा होता तो आज तुम इस तरह सरेआम ज़लील होकर रुसवा न हो रही होतीं। अब शायद तुमको यह पता चल ही गया होगा कि ‘धर्म’ को त्याग कर विधर्मियों के हाथों में खेलने का क्या परिणाम होता है? तुम जैसी जो लड़कियां अपने धर्म, संस्कारों एवं अपने बड़े-बुज़ुर्गों की बातों को नहीं मानती हैं, उनका अंत में यही हाल होता है। उनकी हालत भैंसे के गोश्त की उस हड्डी की तरह हो जाती है जो न तो आंच पर गलती है और न ही उसे ईमानवालों के द्वारा चबाकर खाया जाता है। उसे तो बस मज़ा मिल जाने के बाद चूसकर फेंक दिया जाता है।

मेरे प्यारे हिंदू भाई-बहनों, इस बात को सदैव स्मरण रखना कि जो व्यक्ति ‘धर्म’ की रक्षा करता है, धर्म भी सदैव उसकी रक्षा करता है और जो व्यक्ति धर्म का नाश करता है, धर्म उसका भी नाश कर देता है। जय-संहिता यानी कि महाभारत के वन-पर्व की अध्याय संख्या 313 की श्लोक संख्या 128 में वर्णित ‘धर्मो रक्षति रक्षितः…

’ नामक सूत्र भी यही शिक्षा देता है और यही हमारे धर्म-रक्षण के कार्य का मूल आधार भी ।
🖋️ शुभम हिंदू संस्थापक एवं राष्ट्रीय अध्यक्ष
हिंदू एकता समूह
7302114150

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