छत्तीसगढ़ से ये बड़ी खबर है जहां बांग्लादेशी मुस्लिम हिंदू नाम रखकर आपराधिक घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं. ये लोग हिंदूओं के बीच रहकर गैरकानूनी काम करते हैं दरअसल छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव से ऐसे 8 बांग्लादेशी मुसलामानों को पुलिस ने धर दबोचा है जो हर तरह के अपराध की घटना को अंजाम देते थे . ये राजनांदगांव के अलावा कबीरधाम, बेमेतरा, मुंगेली और धमतरी सहित कई जिलों में फेरी में बर्तन बेचने की आड़ में सूनसान मकानों की पहले रेकी करते थे फिर वारदात को अंजाम देते थे. सभी का संबंध बांग्लादेश से है. उनका मास्टरमाइंड आरोपित गोविंदा उर्फ अकरम खान अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है .

राजनांदगांव के पुलिस अधीक्षक डी. श्रवण ने घटना का खुलासा करते हुए बताया कि मामले में पुलिस ने फरजान पिता मसूद खान, सुमंत खंडोकार पिता अब्दुल अव्वल, मो. मकसूद उर्फ कालू पिता मो. असलम अली, मो. जानी अली पिता मो. रहमत अली, मो. सुमंत खान पिता स्व. मो. सलाम खान, मासूम शेख पिता अमीर शेख, मोहम्मद बादोल उर्फ बादल राय पिता जायेद उल उर्फ रंजीत राय और ज्वेलर्स संचालक विकास सोनी को गिरफ्तार किया है।

गिरफ्तार आरोपितों से पूछताछ में यह भी पता चला है कि इनके कुछ लोग मध्य प्रदेश के इंदौर और अनूपपुर में भी हैं. आठ में से एक मोहम्मद अबू बकर सिद्दीकी उर्फ आकाश यादव ने महासमुंद के तोषगांव में नाम बदलकर आधार कार्ड तक बना लिया है. इसके अलावा वह यहां एक विधवा महिला से शादी रचाकर घर जमाई के रूप में रह रहा था. गांव के लोगों को भी उसके बांग्लादेशी या बंगाल से होने की जानकारी नहीं है. उन्होंने कहा कि सभी आरोपित नाम बदलकर अलग-अलग जगह किराये में रहते थे और वारदात को अंजाम देने के बाद भाग जाते थे. फिलहाल पुलिस गिरफ्तार आरोपितों से पूंछताछ कर इनसे संबंध रखने वाले अन्य लोगों की जानकारी जुटाने में लगी है. जहिर है ये पुलिस की बहुत बड़ी सफलता है क्योंकि इम आठों जिहादियों के जरिये पुलिस बड़े नेक्सस का पर्दाफाश कर सकती है।

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