22 जनवरी 2024 को अयोध्या में होने वाले श्रीराम मंदिर के उद्घाटन की पृष्ठभूमि में हिन्दू जनजागृति समिति ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री मा. योगीजी से मांग की थी कि अयोध्या में शराब और मांस पर 100 प्रतिशत प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए । इसके लिए कई जगहों पर हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनों ने एकजुट होकर आंदोलन भी किया । इसका त्वरित संज्ञान लेते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री मा. योगी आदित्यनाथ जी ने अयोध्या के 84 कोसी परिक्रमा यात्रा क्षेत्र में शराब पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया । हिन्दू जनजागृति समिति इस प्रशंसनीय निर्णय का स्वागत करती है तथा उत्तर प्रदेश सरकार का आभार भी व्यक्त करती है ।
इसी प्रकार, सभी धार्मिक क्षेत्रों की पवित्रता बनाए रखने के लिए, हिन्दू जनजागृति समिति की मा. योगीजी से मांग है कि अयोध्या की भांति काशी, मथुरा जैसे अन्य सभी तीर्थ स्थलों के आसपास शराब और मांस पर 100 प्रतिशत प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए ।
आज देश के अनेक मंदिरों, तीर्थ स्थलों आदि पर लाखों श्रद्धालु आते हैं। ‘पर्यटन विकास’ के नाम पर यहां बड़े पैमाने पर बीयर बार, डांस बार, शराब की दुकानें, चाइनीज फूड की दुकानें, मसाज सेंटर, मटन की दुकानें खोली गई हैं । ऐसे स्थानों पर भक्त वास्तव में देव दर्शन, तीर्थयात्रा, साधना के लिए आते हैं। वे ‘मद्य-मांस’ सेवन या भोग-विलास के लिए नहीं आते हैं। इसलिए, भक्तों को सुविधाएं अवश्य प्रदान की जानी चाहिए; लेकिन ऐसे पवित्र स्थानों की पवित्रता बनी रहनी चाहिए।’ किसी तीर्थ स्थल पर जाने के बाद वहां की पवित्रता न रह जाने के कारण क्या हम सचमुच तीर्थ स्थल पर आए हैं? ऐसा संदेह उत्पन्न होता है; इसलिए इससे पहले हरिद्वार और ऋषिकेश में भी स्थानीय प्रशासन ने शराब और मांस पर 100 फीसदी प्रतिबंध लगा दिया था । उसे सर्वाेच्च न्यायालय ने बनाए रखा है । कुम्भ मेले हरिद्वार और ऋषिकेश में आयोजित किए जाते हैं । इसके लिए वहां बडी संख्या में श्रद्धालु धार्मिक पूजा-अर्चना करने आते हैं । तीर्थयात्रा से इन करोड़ों श्रद्धालुओं की धार्मिक भावनाएं जुडी हुई हैं । इसका प्राथमिकता से विचार किया जाना चाहिए’, ऐसा भी कहते मा. सर्वाेच्च न्यायालय ने कहा है । इसी पृष्ठभूमि पर हिन्दू जनजागृति समिति की मांग है कि सभी तीर्थ स्थलों पर शराब और मांस पर 100 फीसदी प्रतिबंध लगाया जाए ।
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